Svarāja se lokanāyakaContributed articles on the life and work of Jayaprakash Narayan, 1902-1979 socialist leader; published on the occasion of his 100th birth anniversary. |
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जाजकल ऐसे नेताओं की बहुतायत है । मेरी मान्यता है वि;
नेताओं की इसी किम के कारण (रे देश में लोगों का मन
छोब२ताविक राजनीति से उकसाता जा रहा है । दूसरे तरह के नेता
वे होते हैं जो ...
जाजकल ऐसे नेताओं की बहुतायत है । मेरी मान्यता है वि;
नेताओं की इसी किम के कारण (रे देश में लोगों का मन
छोब२ताविक राजनीति से उकसाता जा रहा है । दूसरे तरह के नेता
वे होते हैं जो ...
Page 181
नयसलवई एक ऐसे अपतंयजारी समाज की सजाना कर रहे थे जिसका
मुख्य उद्देशय बा, समाज चु-पाट, हिसा, भय तथा नृशंस हत्याओं
के अगर पर सर्वस्व अपना वय कायम करना । यह ऐसे जात-बजाई, थे जो ...
नयसलवई एक ऐसे अपतंयजारी समाज की सजाना कर रहे थे जिसका
मुख्य उद्देशय बा, समाज चु-पाट, हिसा, भय तथा नृशंस हत्याओं
के अगर पर सर्वस्व अपना वय कायम करना । यह ऐसे जात-बजाई, थे जो ...
Page 316
दल की रिपोर्ट में कहा गया है : ये खण्ड ऐसे उपयुक्त (की) क्षेत्र
हैं जो ऐसे कानों के लिए पर्यात सुरिधा प्रदान करते हैं,
जिनकी सकी गाम-पंचायतों के जूते के बाहर की चीज है और साथ ही
ऐसे ...
दल की रिपोर्ट में कहा गया है : ये खण्ड ऐसे उपयुक्त (की) क्षेत्र
हैं जो ऐसे कानों के लिए पर्यात सुरिधा प्रदान करते हैं,
जिनकी सकी गाम-पंचायतों के जूते के बाहर की चीज है और साथ ही
ऐसे ...
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